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Electoral Bonds: सबसे ज्यादा चंदा देने वाला निकला “Lottery King”, जानें विपक्षी दलों से कनेक्शन

The 'Lottery King' who spent crores on parties

नई दिल्ली, उज्जवल इण्डिया न्यूज़ डेस्क। Lottery King, Electoral Bonds : चुनाव आयोग ने चुनावी पारदर्शिता के क्षेत्र में बड़ा कदम उठाते हुए इलेक्टोरल बॉन्ड से जुड़ी जानकारी सार्वजनिक कर दी है। चुनाव आयोग द्वारा जारी डाटा में अंबानी-अडानी का तो नाम नहीं है लेकिन इन आकड़ों में तमिलनाडु की एक कंपनी का नाम चौंकाने वाला है। गेमिंग व्यवसाय का संचालन करने वाली इस कंपनी ने सबसे अधिक चुनावी चंदा दिया है। इस कंपनी का नाम फ्यूचर गेमिंग एंड होटल सर्विसेज है।

फ्यूचर गेमिंग ने 2019 से 2024 तक इलेक्टोरल बॉन्ड के जरिए सबसे अधिक 1368 करोड़ रुपये की बड़ी राशि राजनीतिक दलों को दान में दी है। दान देने में 1,000 करोड़ का आंकड़ा पार करने वाली यह एकमात्र कंपनी है। ऐसे में पूरे देश में एक सवाल उठाया जा रहा है कि ये कंपनी आखिर करती क्या है?

future gaming and hotel services

सबसे पहले तो जानें इस कंपनी का मालिक आखिर है कौन

आपको बता दें, इस कंपनी का मालिक सैंटियागो मार्टिन है जिसका कई घोटालों में नाम सामने आ चुका है। ‘लॉटरी किंग’ के नाम से कुख्यात सैंटियागो मार्टिन की भारत के विपक्षी दलों के कई बड़े नेताओं के साथ सांठगांठ है। भारत आने से पहले सैंटियागो मार्टिन म्यांमार में मजदूरी करता था। लेकिन आज ये ₹7000 करोड़ का ‘लॉटरी’ का धंधा खड़ा कर चुका है। वह लगातार पैसों की गड़बड़ी और धोखाधड़ी समेत मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में 2011 से जाँच एजेंसियों के रडार पर हैं।

सैंटियागो मार्टिन ने साल 1991 में फ्यूचर गेमिंग एंड होटल सर्विसेज की स्थापना की थी। यह कम्पनी तमिलनाडु में शुरू हुई थी, लेकिन जब यहाँ लॉटरी बंद हो गई तो मार्टिन ने अपना अधिकांश धंधा केरल और कर्नाटक में चालू कर दिया। वर्तमान में यह अरुणाचल प्रदेश, असम, गोवा, केरल, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, मणिपुर, मेघालय, मिजोरम, नागालैंड, पंजाब, सिक्किम, पश्चिम बंगाल, नागालैंड और सिक्किम में लॉटरी का धंधा चलाती हैं।

 

मार्टिन पर ‘लॉटरी घोटाले’ का आरोप

आपको बता दें, सैंटियागो मार्टिन पर 1 अप्रैल, 2009 से 31 अगस्त, 2010 के बीच में केरल में लॉटरी टिकटों की फर्जी बिक्री के माध्यम से सिक्किम सरकार को ₹910.29 करोड़ का नुकसान पहुँचाने का आरोप है। ईडी ने बताया था कि इसकी कंपनियों और संस्थाओं ने अप्रैल 2009 से अगस्त 2010 के बीच जीतने वाले लॉटरी टिकटों के पैसो को बढ़ा चढ़ा कर दिखाया जिससे सिक्किम सरकार को 910 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ।”

    ईडी ने पिछले साल मई 2023 में मार्टिन की 457 करोड़ से अधिक की संपत्ति को जब्त किया था। इससे पहले ईडी ने मनी लांड्रीग के चलते उसकी ₹19.59 करोड़ की संपत्ति कुर्क की थी। आयकर विभाग भी मार्टिन से जुड़े ठिकानों पर छापा मार चुका है।

हाल ही में फ्यूचर गेमिंग कम्पनी के मालिक मार्टिन के दामाद आधव अर्जुन और उनकी प्रॉपर्टी पर भी ईडी ने छापा मारा था। ये एक्शन तमिलनाडु में सैंड माइनिंग से जुड़ी मनी लॉन्ड्रिंग को लेकर जांच के तहत लिया गया था।

Lottery Scam (File Photo)

अब मार्टिन का विपक्षी दलों के साथ लिंक

 

मार्टिन का CPI(M) के साथ लिंक

वर्ष 2007 के जुलाई महीने में टाइम्स ऑफ़ इंडिया में छपी रिपोर्ट के मुताबिक सैंटियागो मार्टिन ने कम्युनिस्ट पार्टी के मुखपत्र देशाभिमानी को ₹2 करोड़ का चंदा दिया था। जब यह मामला खुला तो पार्टी लोगों के निशाने पर आ गई। पार्टी की छवि बचाने के लिए महासचिव प्रकाश करात ने पैसा स्वीकार करने के बाद उसे लौटाने का निर्णय लिया था।

साल 201 में केरल के मुख्यमंत्री पिनराई विजयन के कानूनी सलाहकार एमके दामोदरन ने लॉटरी घोटाले के सिलसिले में मार्टिन की अदालत में पैरवी की थी।

Kerala CM Pinarayi Vijayan (File Photo)

 

सनातन विरोधी DMK से के साथ भी संबंध

इंडिया टुडे की रिपोर्ट के मुताबिक मार्टिन ने डीएमके के संथापक दिवंगत करूणानिधि को एक फिल्म लिखने के नाम पर 45 लाख रुपये दिए थे। उस समय करूणानिधि तमिलनाडु के मुख्यमंत्री थे। इस फिल्म का नाम ‘इलैगनन’ था। करणानिधि ने मार्टिन की कई फिल्मों के लिए स्क्रिप्ट लिखी थी। इंडिया टुडे ने सिनेमा जगत की कई हस्तियों के हवाले से कहा था कि मार्टिन सत्ताधारी दल को इस तरह पैसे पहुंचाता था ताकि वह बिना कोई समस्या के अपना लॉटरी का धंधा चला सके।

जी2जी में छपी एक रिपोर्ट के मुताबिक, सैंटियागो मार्टिन के दामाद आधव अर्जुन को डीएमके ने 2024 लोकसभा चुनावों के लिए पार्टी चुनावी रणनीतिकार की भूमिका में नियुक्त किया था। यह भी बताया जाता है कि अर्जुन के तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन के दामाद सबरीसन के साथ अच्छे सबंध हैं।

M. Karunanidhi (File Photo)

 

कांग्रेस से भी जुड़े तार

साल 2010 में वरिष्ठ कांग्रेस नेता और वकील अभिषेक मनु सिंघवी ने भी सितंबर 2010 में केरल हाई कोर्ट में घोटाले के दागी सैंटियागो मार्टिन का केस लड़ा था। हालाँकि, उन्हें कम्युनिस्टों के विरोध के चलते मामले से नाम वापस लेने के लिए मजबूर होना पड़ा था। तक कांग्रेस के मीडिया प्रमुख जनार्दन द्विवेदी ने कहा था, “पार्टी ने इस मुद्दे को गंभीरता से लिया है, भले ही सिंघवी इस मामले से हटने की घोषणा की है।”

 

टीएमसी के साथ भी संबंध

जब से केंद्र की मोदी सरकार ने उसके खिलाफ कार्रवाई शुरू की है तब से उसने विपक्षी दलों के साथ अपना गठबंधन और बढ़ा दिया है। एक मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक सैंटियागो की कम्पनी फ्यूचर गेमिंग और होटल सर्विसेज ने वर्ष 2017 और 2021 के बीच पश्चिम बंगाल में ₹12000 करोड़ GST दिया था। अक्टूबर 2022 में, भाजपा नेता सुवेंदु अधिकारी ने तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) के नेताओं पर मार्टिन की कंपनियों की सहायता से मनी लॉन्ड्रिंग में शामिल होने का आरोप लगाया था। मार्टिन पर बंगाल चुनाव के दौरान टीएमसी की वित्तीय मदद करने का भी आरोप लगा था।

आपको यह जानकर हैरानी होगी कि पशु तस्करी में आरोपों का सामना कर रहे टीएमसी नेता अनुब्रत मंडल और उनकी बेटी ने तीन साल में 5 बार मार्टिन की कंपनी की लॉटरी जीती थी।

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सत्ता धारी दलों को चंदा देता है मार्टिन

आपको बता दें, ‘लॉटरी किंग’ के नाम से कुख्यात सैंटियागो मार्टिन केवल सत्ताधारी दलों को ही चंदा देता है। वह भाजपा को भी कई बार चंदा दे चुका है बावजूद इसके केंद्रीय जाँच एजेंसियां मार्टिन के पीछे लगी हुई है। चुनाव आयोग ने जो डाटा जारी किया उससे यह पता नहीं चल सका है कि मार्टिन ने किस दल को कितना चंदा दिया। लेकिन ये जरूर तय है कि वह पार्टियों को चंदा देकर अपने पाप ढकने की कोशिश करता है।

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